मैनपुरी: शिक्षक के खिलाफ छात्राओं की शिकायत, शिक्षक की शर्मनाक हरकतें।

Mainpuri | Roglance News

शिक्षा का क्षेत्र हमेशा से एक पवित्र स्थान माना गया है, जहां गुरु-शिष्य का रिश्ता सम्मान और विश्वास पर आधारित होता है। लेकिन जब एक शिक्षक ही इस रिश्ते को शर्मसार कर दे, तब समाज में आक्रोश और असंतोष का जन्म लेना स्वाभाविक है। मैनपुरी जिले के थाना औंछा क्षेत्र में एक ऐसी ही घिनौनी घटना सामने आई है, जिसने पूरे क्षेत्र में सनसनी फैला दी।

थाना औंछा के एक पूर्व माध्यमिक विद्यालय में सहायक अध्यापक के रूप में तैनात नरेंद्र कुमार यादव पर छात्राओं से छेड़छाड़ करने और अश्लील वीडियो दिखाने के गंभीर आरोप लगे हैं। सोमवार को एक छात्रा ने जब अपनी आपबीती अपने अभिभावकों को बताई, तो मामले ने तूल पकड़ लिया। अभिभावक जब स्कूल पहुंचे, तो अन्य छात्राओं ने भी नरेंद्र यादव की गंदी हरकतों का खुलासा किया।

कस्बा औंछा के इस विद्यालय में पढ़ने वाली छात्राओं ने बताया कि शिक्षक नरेंद्र कुमार यादव लंबे समय से अश्लील हरकतें कर रहा था। वह छात्राओं को अपने मोबाइल फोन पर अश्लील वीडियो दिखाता था और उनसे अनुचित तरीके से पेश आता था। एक छात्रा की हिम्मत के बाद उसने अपने परिवार को यह बात बताई, जिसके बाद अभिभावकों का गुस्सा फूट पड़ा।


जब अभिभावक स्कूल पहुंचे और उन्होंने अन्य छात्राओं से बात की, तो यह पता चला कि कई अन्य छात्राएं भी शिक्षक की इसी तरह की हरकतों का शिकार हुई थीं। एक के बाद एक, बच्चियों ने बताया कि शिक्षक उनके साथ अश्लील हरकतें करता था और किसी न किसी बहाने उन्हें अपने पास बुलाने की कोशिश करता था।

✲  पुलिस द्वारा शिक्षक पर कार्रवाई 

घटना की गंभीरता को देखते हुए तुरंत पुलिस को सूचित किया गया। पुलिस मौके पर पहुंची और आरोपी शिक्षक को गिरफ्तार कर थाने ले गई। वहीं, छात्राओं के अभिभावक भी अपनी बच्चियों को लेकर थाने पहुंचे और अपनी शिकायत दर्ज कराई। प्रारंभिक जांच में ही छात्राओं के लगाए गए आरोप सही पाए गए। पुलिस ने 8वीं कक्षा की एक छात्रा के पिता की शिकायत पर सहायक अध्यापक नरेंद्र कुमार यादव के खिलाफ मामला दर्ज कर लिया है। 

गुरु और शिष्य के बीच का रिश्ता भारतीय समाज में सबसे पवित्र माना जाता है। यह रिश्ता केवल शिक्षा तक ही सीमित नहीं होता, बल्कि यह नैतिकता, संस्कार, और विश्वास का भी प्रतीक होता है। लेकिन जब एक शिक्षक ही इस मर्यादा को तोड़ देता है, तो यह समाज के लिए एक गंभीर चिंता का विषय बन जाता है। मैनपुरी की इस घटना ने इसी विश्वास को हिला कर रख दिया है।

छात्राओं ने बताया कि नरेंद्र यादव अक्सर उनके पास आने का बहाना बनाता था और अश्लील हरकतें करता था। वह कभी कमर पर छूता था तो कभी चिकोटी काटता था। यह सब सुनकर अभिभावकों और ग्रामीणों में जबरदस्त आक्रोश है। वे सोच नहीं पा रहे कि एक शिक्षक, जो कि बच्चों का मार्गदर्शक होता है, वह कैसे इस हद तक गिर सकता है।

✲ निष्कर्ष: मैनपुरी की इस शर्मनाक घटना ने एक बार फिर से यह साबित कर दिया है कि हमारे समाज में अभी भी कई ऐसे लोग हैं जो अपने पद और प्रतिष्ठा का गलत फायदा उठाते हैं। हमें मिलकर ऐसे लोगों का विरोध करना होगा और अपने बच्चों को एक सुरक्षित और स्वस्थ वातावरण प्रदान करना होगा। जब तक हम इस दिशा में ठोस कदम नहीं उठाएंगे, तब तक ऐसी घटनाएं होती रहेंगी और हमारी आने वाली पीढ़ी का भविष्य अंधकार में रहेगा।

शिक्षा का उद्देश्य केवल ज्ञान देना नहीं, बल्कि बच्चों को अच्छे संस्कार देना भी होता है। शिक्षक को एक मार्गदर्शक के रूप में देखा जाता है, जो बच्चों को सही और गलत का फर्क सिखाता है। लेकिन जब शिक्षक ही अपने कर्तव्यों से विमुख हो जाए और बच्चों के साथ इस प्रकार का व्यवहार करे, तो यह समाज के लिए एक चेतावनी है। हमें मिलकर ऐसे शिक्षकों का बहिष्कार करना होगा और सुनिश्चित करना होगा कि हमारे बच्चों का भविष्य सुरक्षित और उज्ज्वल हो।