बृहस्पतिवार को सीएम योगी आदित्यनाथ का भाजपा प्रत्याशी जयबीर सिंह के समर्थन में रोड शो प्रस्तावित था। अनुमान लगाया जा रहा था कि रोड शो के रथ पर सीएम योगी के अलावा प्रत्याशी जयवीर सिंह और स्थानीय नेता नजर आएंगे, लेकिन जब सीएम रथ पर पहुंचे तो यहां रथ पर नए जातीय समीकरण नजर आए।
लोधी मतदाताओं को साधने के लिए पूर्व मुख्यमंत्री कल्याण सिंह के पौत्र और प्रदेश सरकार में राज्य मंत्री संदीप सिंह मौजूद थे। वहीं शाक्यों को अपने पाले में करने के लिए राज्यसभा सांसद गीता शाक्य भी उपस्थित थीं। ब्राहमण मतदाओं को साधने के लिए भोगांव विधायक रामनरेश अग्निहोत्री भी रथ पर साथ रहे तो वहीं अनुसूचित जाति के मतदाताओं को संदेश देने के लिए राज्य मंत्री असीम अरुण को भी बुलाया गया था।
रही बात सत्रिय मतदाताओं को सो खुद सीएम योगी और भाजपा प्रत्याशी जगवीर सिंगा इसके लिए काफी थे। रोड शो के दौरान किसी भी स्थानीय नेता कोरथ पर जगह नहीं मिल सकी। योगों ने अपने रोड शो से इन सभी जातियों के मतदाताओं को एक बड़ा संदेश देने का काम किया है।
हालांकि स्थानीय नेताओं की रथ पर गैर मौजूदगी के भी लोग अलग-अलग मायने निकाल रहे हैं। सीएम योगी के साथ रोड शो के दौरान रथ पर जो नेता नजर आए इनका मैनपुरी से दूर-दूर तक कोई वास्ता नहीं है। हालांकि प्रदेश सरकार में प्रतिनिधित्व होने के चलते जनता उन्हें जानती जरूर है। बृहस्पतिवार को मैनपुरी में बसपा सुप्रीमो मायावती को भी जनसभा थी।
ऐसे में कहीं न कहीं बसपा के काडर वोट को अपनी तरफ खींचने के लिए राज्य मंत्री असीम अरुण को बुलाया गया था। वहीं राज्य मंत्री संदीप सिंह को बुलाने का कारण मैनपुरी नगर पालिका के चुनाव को लेकर लोधी मतदाताओं में आई नाराजगी को दूर करना है।
इस रोड शो में न केवल राजनीतिक दलों के नेता, बल्कि उनके साथी और पार्टी कार्यकर्ता भी उपस्थित थे। यह रोड शो भाजपा के चुनावी संकेतों और रणनीतिक योजनाओं को लेकर महत्वपूर्ण था।
भाजपा के इस समीकरण का मुख्य उद्देश्य था मुलायम का गढ़ प्राप्त करना। इसके लिए वे अलग-अलग समुदायों और जातियों को सम्मिलित कर रहे थे। इससे उन्हें विभिन्न समुदायों की समर्थन मिल सकता था, जिससे उनकी जीत की संभावनाएं बढ़ सकती थीं।
रोड शो के दौरान भाजपा ने न केवल अपने चुनावी वादों को उजागर किया, बल्कि वे अपने समर्थकों को भी जुटा लिया। इससे प्रदर्शन की भावना और उत्साह बढ़ गया। रोड शो के माध्यम से भाजपा ने अपने समर्थकों को सशक्त किया और उन्हें अपने प्रत्याशी के पक्ष में प्रेरित किया।
इस रोड शो में बुलडोजर शामिल होने के बारे में भी बात की जा रही है। यह एक बड़ी संदेशिका है जो बताती है कि भाजपा कानून और क्रिमिनलिटी के मामलों में कड़ी सक्ति का समर्थन करती है।
इस रोड शो के माध्यम से भाजपा ने न केवल अपने प्रत्याशी का समर्थन प्राप्त किया, बल्कि वे अपने समर्थकों को भी सशक्त किया। यह रोड शो भाजपा की चुनावी रणनीति का महत्वपूर्ण हिस्सा बन गया है जो कि उन्हें विभिन्न समुदायों की समर्थन को जोड़ने में सहायक है।
सम्पूर्ण रूप से, भाजपा के इस रोड शो ने मुलायम का गढ़ जीतने के लिए उनकी रणनीतिक क्षमता को प्रदर्शित किया है और उन्हें चुनावी रणनीति में एक महत्वपूर्ण कदम आगे बढ़ाया, रोड शो के दौरान भाजपा के नेता और प्रत्याशी ने विभिन्न समुदायों और जातियों के मतदाताओं को साथ लेकर एक एकीकृत चुनावी प्रचार कार्यक्रम का आयोजन किया।
इससे स्थानीय समुदायों को महसूस हुआ कि उनकी आवाज को सुना जा रहा है और उनकी समस्याओं का समाधान किया जा रहा है। यह भाजपा की एक प्रगतिशील रणनीति है जो समर्थन के लिए नागरिकों के बीच संवाद को महत्वपूर्ण मानती है।
रोड शो के माध्यम से भाजपा ने न केवल अपने प्रत्याशी का प्रचार किया, बल्कि उन्होंने राज्य के विभिन्न क्षेत्रों से लोगों को एक साथ लाने का प्रयास किया। यह स्थानीय समाज के विकास और समृद्धि के लिए एक सकारात्मक कदम है जो लोगों के बीच एकता और सामर्थ्य की भावना को बढ़ावा देता है।
इस रोड शो के माध्यम से भाजपा ने भी स्थानीय समस्याओं और जनसंवाद को महत्वपूर्ण माना। उन्होंने लोगों को अपनी समस्याओं को हल करने के लिए समर्थन प्राप्त करने का आश्वासन दिया। इससे भाजपा ने नागरिकों के बीच अपना समर्थन और विश्वास बढ़ाया है और उन्हें अपनी पार्टी के साथ जुड़े रहने के लिए प्रेरित किया है।
भाजपा ने मुलायम का गढ़ जीतने के लिए अपने समर्थकों के बीच एकता और समर्थन का माहौल बनाया है। रोड शो ने उनकी जीत की संभावनाओं को और भी बढ़ा दिया है और इससे स्थानीय समुदायों को अपने उत्कृष्ट उत्थान के लिए एक संजीवनी मिली है।